मीडिया की नैतिकता

मीडिया की नैतिकता

मीडिया की नैतिकता

संदर्भ- हाल ही में टीवी चैनलों पर बहस के माध्यम से नफरत भरे भाषणों से नाराजगी व्यक्त करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने दृश्य माध्यम या  विजुअल मीडिया को घृणात्मक भाषण का मुख्य माध्यम कहा। इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार को जवाब देने के लिए दो सप्ताह का समय दिया है। अन्यथा कोर्ट विशाखा केस की तर्ज पर दिशा निर्देश देने के लिए विचार कर सकता है।

सर्वोच्च न्यायालय की शिकायतें-

  • अव्यवस्थित तरीके से आयोजन 
  • आयोजन से पूर्व एंकर व मेहमानों का समय निर्धारण न होना।
  • सरकार की इस पर कोई कार्यवाही न होना।

 वर्तमान में टेलीविजन मीडिया में यह वाक्यांश कि टीआरपी बढ़ने से मुनाफा बढ़ता है प्रचलन में है। 

टीआरपी (टेलीविजन रेटिंग पॉइण्ट)- किसी भी चैनल या प्रोग्राम की टीआरपी, टीवी पर प्रसारित कार्यक्रम पर निर्भर करती है। यह विज्ञापन एजेंसियों द्वारा  कार्यक्रम देखे जाने वाले टीवी स्क्रीनों की संख्या की गणना कर दर्शकों के रुचि का मूल्यांकन करता है और सभी कार्यक्रमों में से सर्वश्रेष्ठ कार्यक्रम का निर्धारण करता है। 

टीआरपी विज्ञापनदाताओं के लिए महत्वपूर्ण टूल है, क्योंकि अधिक टीआरपी का अर्थ है अधिक दर्शक/उपभोक्ता और अधिक उपभोक्ता का अर्थ है अधिक लाभ। इससे कार्यक्रमों व चैनलों के मध्य परस्पर प्रतिस्पर्धा बनी रहती है। भारत में टीआरपी को प्रसारण दर्शक अनुसंधान परिषद(ब्रॉडकास्ट ऑडियन्स रिसर्च काउंसलिंग) द्वारा बार ओ मीटर का प्रयोग करके रिकॉर्ड किया जाता है।टीआरपी किसी विशिष्ट क्षेत्र में किसी विशेष मिनट में दर्शकों के 1% के बराबर होती है।

चैनल व प्रोग्राम की होड़ ने टीआरपी की महत्ता को और बढ़ा दिया है। पत्रकारिता का क्षेत्र जिसे लोकतंत्र का चौथा स्तंभ कहा जाता है, में भी प्रतिस्पर्धात्मक चुनौतियाँ लगातार बढ़ रही है, जिससे चैनल पर कई बार निष्पक्ष पत्रकारिता के मुद्दे से भटककर दर्शकों को आकर्षित करने के मुद्दों और बहस का आयोजन किया जाता है। इसे पीत पत्रकारिता भी कहा जाता है।

समाचार बहस में एंकर की भूमिका- समाचार बहस में एंकर प्रतिस्पर्धी भूमिका निभाते हैं, आमतौर पर एंकर या एंकर मेन शब्द को रिले रेस मे प्रयोग किया जाता था, जहाँ सबसे तेज और अनुभवी प्रतियोगी को एंकरलेग कहा जाता था। 

  • एंकर के आने से समाचार की विश्वसनीयता बढ जाती है, एंकर के माध्यम से दर्शक समाचार को और अच्छे से समझ पाते हैं।
  • समाचार बहस, शिक्षा क्षेत्र में होने वाली संगोष्ठी के समान होता है जिसमें किसी विशेष विषय पर विषय विशेषज्ञों के साथ चर्चा की जाती है। और उससे संबंधित समस्याओं का समाधान ढूंढा जाता है। इसका संचालक भी विषय ज्ञानी हैं। 
  • मंच संचालक या एंकर के कार्य-  
    1. मंच संचालक को मंच संचालन से पहले बहस की रूप रेखा तैयार करना।
    2. समस्या के मुद्दे की पृष्ठभूमि बताना। 
    3. सभी अतिथियों को बोलने का अवसर देना।
    4. बहस के अंत में निष्पक्ष रूप से निष्कर्ष रखना।

सुप्रीम कोर्ट द्वारा विशाखा केस की तरह दिशा निर्देश देने की संभावना।

  • केस में पीडित भंवरी देवी की याचिका को गांव के अधिकारियों, डॉक्टर, पुलिस ने उनकी खारिज कर दिया था। ऐसी परिस्थिति में न्यायालय ने विशाखा के सामूहिक मंच के तहत कई महिला समूहों तथा अन्य संगठनों को सर्वोच्च न्यायालय में याचिका दायर करने के लिए प्रेरित किया। अपनी याचिका में उन्होंने पीड़िता को न्याय दिलाने की मांग की और कार्यस्थल पर कार्यवाही का अनुरोध किया। 
  • सर्वोच्च नयायालय ने पहली बार आचरण संबंधी दिशा निर्देश जारी किए। कई प्ररूपों के बाद संसद द्वारा कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न के विरूद्ध महिला सुरक्षा अधिनियम 2010 लागू किया गया, जिसमें कार्य स्थल पर महिलाओं की सुरक्षा के साथ मजदूर, विश्वविद्यालयी छात्र/छात्राएं, क्लाइंट, विद्वान, रोगी आदि की भी सुरक्षा करता है.
  • विशाखा दिशा निर्देश के अनुसार यदि असंवैधानिक घटना पर सरकार कार्यवाही न करे तो सर्वोच्च न्यायालय इस पर पीड़ित को न्याय दिलाने के लिए दिशा निर्देश जारी कर सकता है। 

सर्वोच्च न्यायालय द्वारा टीवी चैनलों पर अब तक लगी रोक-

  • केबल टेलीविजन नेटवर्क नियम 1994 के तहत ऐसे कार्यक्रमों पर रोक लगाई जा सकती है जो देश में साम्प्रदायिकता को बढ़ावा देते हैं।
  • वर्ष 2020 में सर्वोच्च न्यायालय ने सुदर्शन टीवी पर ‘यूपीएसपी जिहाद’ कार्यक्रम पर रोक लगाई थी। जिसे कुछ समय बाद केंद्रीय प्रसारण मंत्रालय ने प्रसारण की अनुमति दे दी थी।
  • सुप्रीम कोर्ट के निर्देश देने के बाद केन्द्रीय सूचना प्रसारण मंत्रालय ने धार्मिक समुदायों के खिलाफ घृणित भाषण देने वाले 10 यूट्यूब चैनलों के 45 विडियो को ब्लॉक कर दिया है। 

 

स्रोत-

https://www.iimb.ac.in/sites/default/files/inline-files/iim-visakha-guidelines-hindi.pdf

https://www.thehindu.com/news/national/explained-trp-and-its-loopholes/article61720376.ece

https://indianexpress.com/article/upsc-current-affairs/upsc-key-september-22-2022-why-you-should-read-media-ethics-or-over-the-top-ott-or-naxalism-for-upsc-cse-8167209/

Yojna IAS Daily Current affairs hindi med 26th September

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